नागपुरी संगीत के सम्राट शिवशंकर महली – एक अद्वितीय कलाकार को मिला ‘लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड’

झारखंड की सांस्कृतिक धरोहर को संजोने वाले कलाकार को मिला विशेष सम्मान
22 फरवरी 2025 को झारखंड की राजधानी रांची प्रेस क्लब में एक ऐतिहासिक क्षण देखने को मिला, जब नागपुरी संगीत के सम्राट श्री शिवशंकर महली को लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित किया गया। यह न केवल उनके लिए बल्कि समस्त नागपुरी संगीत प्रेमियों और झारखंड की सांस्कृतिक धरोहर के लिए गर्व का विषय है।
🔸 शिवशंकर महली: नागपुरी संगीत के एक अनमोल रत्न हैं वे रांची जिले के नगड़ी प्रखंड के एड़चेरो गांव के रहने वाले हैं और नागपुरी संगीत के अप्रतिम विद्वान माने जाते हैं। उन्हें "नागपुरी संगीत सम्राट" के रूप में जाना जाता है, और उनकी विद्वता व संगीत की गहराई को देखते हुए यह कहना गलत नहीं होगा कि अगर समय पर उनके योगदान को पहचाना जाता, तो उन्हें पद्मश्री पुरस्कार से नवाजा जा सकता था।
उनकी कला केवल झारखंड तक सीमित नहीं रही बल्कि उन्होंने तीन बार फ्रांस, एक बार कनाडा और एक बार अमेरिका में नागपुरी संस्कृति को प्रस्तुत कर अंतरराष्ट्रीय मंच पर इसकी पहचान बनाई।
🔸 नागपुरी संगीत में अतुलनीय योगदान
श्री महली ने 200 से अधिक रागों की रचना की है, जो नागपुरी संगीत को समृद्ध बनाते हैं। वह ढोलक, ढाक, नगाड़ा, मांदर, करह, नरसिंघा, बांसुरी, हारमोनियम और शहनाई जैसे पारंपरिक वाद्ययंत्रों में निपुण हैं।
वहीं, नृत्य के क्षेत्र में भी वे छऊ, डमकच, झूमर, झूमटा, मंडा नृत्य, मर्दानी झूमर, पइका, डइंड़धारा जैसे झारखंडी पारंपरिक नृत्यों में पारंगत हैं। यह उनकी बहुमुखी प्रतिभा का प्रमाण है कि वे न केवल संगीतकार हैं, बल्कि गायक, वादक और नृत्यकार भी हैं।
🔸 सम्मान से बढ़ेगा कलाकारों का मनोबल
2015 में झारखंड की झांकी, जो दिल्ली के 15 अगस्त समारोह में द्वितीय स्थान पर रही थी, उसमें नागपुरी कला को प्रस्तुत करने का नेतृत्व श्री शिवशंकर महली ने किया था। बावजूद इसके, उनकी कला को अभी भी वह स्थान नहीं मिला, जिसके वे हकदार हैं।
आज की परिस्थितियों में, ऐसे कलाकारों को संगीत शोधकर्ताओं और शिक्षाविदों द्वारा संरक्षण मिलना चाहिए ताकि उनकी कला संरक्षित रहे और आने वाली पीढ़ी इससे प्रेरणा ले सके।
🔸 पद्मश्री पुरस्कार के लिए उपयुक्त उम्मीदवार
श्री शिवशंकर महली जैसे कलाकार कला के सच्चे ध्वजवाहक हैं। उनके योगदान को देखते हुए उन्हें पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित किया जाना चाहिए ताकि नागपुरी संगीत और झारखंड की सांस्कृतिक धरोहर को वैश्विक पहचान मिल सके।
💐 शुभकामनाएँ एवं सम्मान
वेबसाइट के माध्यम से हम श्री शिवशंकर महली को इस लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड के लिए हार्दिक बधाई देते हैं और आशा करते हैं कि आने वाले समय में उनके योगदान को राष्ट्रीय स्तर पर और अधिक मान्यता मिलेगी।
जोहार 🙏
S S Mahali ✍🏻
जोग माझी, झारखंड पोनोत
आदिम माहली माहाल
(पारंपरिक स्वशासन व्यवस्था)
_ऐसे ही_
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